आइस क्रीम कोन बनाने का बिजनेस | Ice Cream Cone Manufacturing Business.

Ice Cream Cone से आप सभी लोग अच्छी तरह से अवगत होंगे क्योंकि चाहे आप बच्चे हों, बुजुर्ग हों, युवा हों, पुरुष हों या महिला हों कोई भी हों आपने गर्मियों में आइसक्रीम अवश्य खायी होगी ।  जी हाँ दोस्तों वर्तमान में आइसक्रीम कोन एक बड़े पैमाने पर उपभोग में लायी जाने वाली वस्तु है हालांकि यहाँ पर यह भी स्पष्ट कर देना जरुरी है की Ice Cream Cone को अकेले उपभोग में नहीं लाया जाता है बल्कि इनमें आइसक्रीम भरकर इनका उपभोग किया जाता है।

इसलिए इन्हें आइसक्रीम कोन के नाम से जाना जाता है यह एक सूखी, शंकु के आकार की एक पेस्ट्री होती है जो एक वेफर से बनी होती है और यह आइसक्रीम को हाथ में रखे बिना, और कटोरे में रखे बिना, चम्मच के बिना खाने की अनुमति प्रदान करता है। जैसा की हम सब अच्छी तरह से जानते हैं की बाजार में आइसक्रीम कई किस्मों और फ्लेवर में उपलब्ध है और इन्हें परोसने के लिए विभिन्न तरह के कप, कोन, कैंडी, स्लाइस इत्यादि का इस्तेमाल किया जाता है।

हालांकि पहले केवल गर्मियों के मौसम में ही आइसक्रीम का इस्तेमाल लोग करते थे, लेकिन जीवनशैली में हो रहे बदलावों के कारण इसका उपभोग अब लोग वर्ष भर करने लगे हैं।

और यदि हम आइसक्रीम को परोसने के तरीके की बात करें तो इसे परोसने का सबसे लोकप्रिय तरीका Ice Cream Cone ही है वह इसलिए क्योंकि यह स्टोर करने में आसान है, यह साफ़, स्वच्छ और खाने योग्य है, यह सस्ता है और इसमें निपटान की कोई समस्या नहीं होती है। इसलिए आज हम हमारे इस लेख के माध्यम से आइस क्रीम कोन बनाने के बिजनेस के बारे में बात करेंगे।

ice cream cone
Ice Cream Cone

आइस क्रीम कोन क्या है इसके उपयोग (What is Ice Cream Cone and Its Uses):

Ice Cream Cone एक शंकु के आकार की सूखी वस्तु होती है इसे गेहूं और मकई के आटे से तैयार किया जाता है और इन्हें आइसक्रीम भरकर खाया जाता है। इस तरह के आइस क्रीम शंकु में पहले निर्धारित मात्रा में आइसक्रीम भरी जा सकती है कहने का आशय यह है की इन शंकुओं का निर्माण पहले से आइस क्रीम की मात्रा निर्धारित करके किया जाता है।

और ये न केवल हैंडल करने, स्टोर करने इत्यादि में आसान होते हैं बल्कि ये पर्यावरण को भी स्वच्छ एवं सुरक्षित रखने में मददगार साबित होते हैं, क्योंकि इन्हें आइसक्रीम के साथ ही खा लिया जाता है इसलिए इनकी निपटान की कोई समस्या नहीं होती है।

इनका निर्माण विभिन्न रंगों में किया जा सकता है और इस उत्पाद की मांग शहरों और ग्रामीण इलाकों दोनों क्षेत्रों में व्याप्त है। हालांकि इस उत्पाद का निर्माण फार्मर प्रोडूसर आर्गेनाइजेशन के मानकों के अनुरूप होना आवश्यक है।  

बाजार में अवसर और चुनौतियाँ

जैसा की हम पहले भी बता चुके हैं की पहले आइसक्रीम को केवल गर्मियों के मौसम में ही खाया जाता था, लेकिन वर्तमान में जीवन शैली और लोगों की खान पान के प्रति बदलती आदतों ने आइसक्रीम को वर्ष भर खाया जाने वाला खाद्य पदार्थों की लिस्ट में शामिल कर दिया है। इसलिए आज जब कोई शादी या पार्टी सर्दियों में भी होती है तो आपको वहां पर आइसक्रीम भी आसानी से खाने की मिल जाएगी।

और देखा गया है की अधिकांश आइस क्रीम खाने वाले उपभोक्ता कप या Ice Cream Cone में आइस क्रीम खाना पसंद करते हैं। वैसे देखा जाय तो जो लोग कप में आइसक्रीम खाते हैं उन्हें इसके लिए कप के अलावा एक अतिरिक्त चम्मच की भी आवश्यकता होती है। और आइसक्रीम खाने के बाद कप को डस्टबिन इत्यादि में फेंकना भी आवश्यक हो जाता है ।

जबकि यदि आइसक्रीम खाने का वाला व्यक्ति आइस क्रीम कोन का इस्तेमाल आइसक्रीम खाने के लिए कर रहा हो तो वह इन सभी परेशानियों से मुक्त होता है और आस पास के वातावरण को स्वच्छ बनाने में भी सहायक होता है।

आइसक्रीम की यदि हम बात करें तो यह ब्रांड नाम से तो पहले से लोकप्रिय है लेकिन वर्तमान में इसके उपभोक्ताओं में इजाफा होने के कारण यह शहरों से अर्धशहरों में और ग्रामीण इलाकों में भी पहुँच चुकी है जहाँ पर स्थानीय क्षेत्र में निर्मित आइसक्रीम अर्थात बिना ब्रांड की आइसक्रीम भी काफी लोकप्रिय हो रही हैं।

चूँकि बिना ब्रांड की आइसक्रीम ब्रांडेड आइसक्रीम की तुलना में सस्ती है जिसे मध्यम आय वर्ग के परिवारों द्वारा काफी पसंद किया जा रहा है। और ग्रामीण इलाकों में भी अधिकतर लोग ब्रांडेड की तुलना में बिना ब्रांड की सस्ती आइसक्रीम को ही खरीदना पसंद करते हैं। इस तरह से देखें तो Ice Cream Cone के ग्राहकों के तौर पर शहरी, अर्धशहरी और ग्रामीण लोग सभी शामिल हैं।

आइस क्रीम कोन बनाने का बिजनेस कैसे शुरू करें? (How to Start Ice Cream Cone Manufacturing)

Ice Cream Cone Manufacturing बिजनेस शुरू करने के लिए भी उद्यमी को वे सभी प्रक्रियाएं पूर्ण करनी होती हैं जो किसी अन्य विनिर्माण बिजनेस को शुरू करने के लिए करनी पड़ती हैं।

इसमें उद्यमी को जमीन का प्रबंध, वित्त का प्रबंध, आवश्यक लाइसेंस और पंजीकरण प्राप्त करना, मशीनरी और उपकरणों की खरीदारी, कच्चे माल की खरीदारी, कर्मचारी और श्रमिकों का प्रबंध इत्यादि करने की आवश्यकता होती है। तो चलिए आगे हम इसी विषय पर एक एक करके बात करते हैं और जानते हैं की कैसे कोई इच्छुक व्यक्ति खुद का आइस क्रीम कोन बनाने का बिजनेस शुरू कर सकता है।

1. जमीन और बिल्डिंग का प्रबंध

यदि उद्यमी के पास स्वयं की कोई गैर कृषि योग्य भूमि है तो वह वहीँ पर खुद की Ice Cream Cone Manufacturing  इकाई शुरू करने की योजना बना सकता है। लेकिन यदि ऐसा नहीं है तो उद्यमी को बनी बनाई बिल्डिंग किराये पर लेनी चाहिए क्योंकि जमीन लेकर उसमें कंस्ट्रक्शन करना उद्यमी के व्यवसाय की लागत को काफी हद तक बढ़ा सकता है।

लेकिन बिल्डिंग या जमीन किराये पर लेते वक्त उद्यमी को एक बात का ध्यान अवश्य रखना चाहिए की उसे विनिर्माण के लिए जगह, स्टोर रूम बनाने के लिए जगह, बिजली उपयोगिताओं के लिए जगह और ऑफिस स्थापित करने के लिए जगह की आवश्यकता होती है इसलिए इस प्रकार से देखें तो उद्यमी को 800-1000 Square Feet जगह की आवश्यकता इस काम को शुरू करने के लिए हो सकती है।  

2. वित्त का प्रबंध करें

वित्त का प्रबंध उद्यमी तभी कर पायेगा जब उसे यह ज्ञात हो पायेगा की उसकी परियोजना को शुरू करने में कुल कितनी लागत आएगी। और उसे यह तब ज्ञात हो पायेगा जब वह अपनी परियोजना की प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाएगा, इसलिए सबसे पहले उद्यमी को चाहिए की वह अपने व्यवसाय की एक प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार करे ताकि उसे पता चल सके की उसके व्यवसाय को शुरू करने में कुल कितनी लागत आएगी।

Ice Cream Cone Manufacturing व्यवसाय के लिए वित्त का प्रबंध करने से पहले उद्यमी को सरकारी योजनाओं के तहत मिलने वाले सब्सिडी ऋण के बारे में भी पता करना चाहिए। अन्यथा उद्यमी बैंक ऋण लेकर और व्यक्तिगत बचत के माध्यम से भी वित्त का प्रबंध कर सकता है।    

3. लाइसेंस और पंजीकरण प्राप्त करें

Ice Cream Cone manufacturing के लिए निम्नलिखित लाइसेंस और पंजीकरण लिए जा सकते हैं।

  • अपने उद्यम को रजिस्ट्रार ऑफ़ कंपनीज में रजिस्टर कराना।
  • बिलिंग और इनवॉइस के लिए जीएसटी रजिस्ट्रेशन।
  • बैंक में व्यवसाय के नाम से चालू खाता खुलवाना।
  • ट्रेड लाइसेंस और फैक्ट्री लाइसेंस प्राप्त करना।
  • उद्यम पोर्टल पर रजिस्टर करना।
  • एफएसएसआई रजिस्ट्रेशन   

4. मशीनरी और कच्चा माल खरीदें

जहाँ तक Ice Cream Manufacturing में इस्तेमाल में लायी जाने वाली मशीनरी की बात है यह इकाई की उत्पाद क्षमता के आधार पर अलग अलग हो सकती है। लेकिन यहाँ पर हम जिस मशीन का जिक्र कर रहे हैं वह एक आटोमेटिक मशीन है जिसमें शिफ्टर, डफ नीडर, सुगर पल्वराइज, मापक यंत्र सब कुछ इंस्टाल होता है। इस आटोमेटिक मशीन की कीमत 6-7 लाख रूपये हो सकती है।

कहने का आशय यह है की आइस क्रीम कोन बनाने का व्यवसाय शुरू करने के लिए उद्यमी को एक आटोमेटिक मशीन की आवश्यकता होती है चूँकि इसकी कीमत लाखों में होती है इसलिए उद्यमी को सबसे पहले अच्छे मशीन सप्लायर का चुनाव कर लेना चाहिए।

अब बात करते हैं कच्चे माल की, Ice Cream Cone का निर्माण तीन मुख्य सामग्रियों को कच्चे माल के तौर पर इस्तेमाल में लाकर किया जाता है इनमें गेहूं का आटा, मकई का आटा और चीनी शामिल है। इसलिए उद्यमी को कच्चे माल की उपलब्धता को लेकर परेशानी तो होने वाली है नहीं। इसके अलावा पानी, वसा या तेल, फ्लेवर, रंग, नमक इत्यादि भी सहायक कच्चे माल के तौर पर इस लिस्ट में शामिल हैं।  

5. निर्माण कार्य शुरू करें

Ice Cream Cone बनाने की यदि हम बात करें तो इस प्रक्रिया को मूल रूप से एक यांत्रिक प्रेस ऑपरेशन के माध्यम से पूर्ण किया जाता है। सबसे पहले गेहूं और मकई के आटे में पानी मिलाया जाता है और इसमें आवश्यक मात्रा में फ्लेवर और रंग मिला दिए जाते हैं ।

उसके बाद इसका डफ तैयार किया जाता है और इस डफ को आइस क्रीम कोन बनाने वाले मोल्ड में डाला जाता है उसके बाद आटोमेटिक मशीन द्वारा इसमें स्वत ही दबाव दे दिया जाता है जिससे डफ शंकु का आकार ले लेता है। उसके बाद इसे सूखा दिया जाता है और पैक करके बाजार में बेचने के लिए भेज दिया जाता है।

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